क्वांटम दुनिया का नया अध्याय: ठोस पदार्थों में इलेक्ट्रॉनों की अद्भुत ज्यामिति का पहला मापन क्वांटम भौतिकी की रहस्यमय और अद्भुत दुनिया में एक बड़ी छलांग लगाई गई है। पहली बार, MIT और उनके सहयोगी वैज्ञानिकों ने ठोस पदार्थों में इलेक्ट्रॉनों की ज्यामिति, यानी उनके आकार और संरचना को, क्वांटम स्तर पर मापा है। अब तक वैज्ञानिक केवल इलेक्ट्रॉनों की ऊर्जा और गति को माप सकते थे, लेकिन उनकी क्वांटम ज्यामिति केवल सिद्धांतों पर आधारित होती थी। इस ऐतिहासिक खोज से न केवल क्वांटम भौतिकी के नए दरवाजे खुले हैं, बल्कि यह आधुनिक तकनीकों और उपकरणों में भी क्रांति ला सकती है।
क्वांटम इलेक्ट्रॉनों की रहस्यमय दुनिया क्वांटम दुनिया बेहद अजीब है। यहां इलेक्ट्रॉन केवल एक बिंदु मात्र नहीं होता, बल्कि एक तरंग के रूप में भी देखा जा सकता है। इस तरंग जैसे स्वरूप को वेव फंक्शन (wave function) कहते हैं। इसे आप एक त्रि-आयामी सतह की तरह समझ सकते हैं।
MIT के प्रोफेसर रिकार्डो कॉमिन और उनकी टीम ने इस वेव फंक्शन की ज्यामिति को मापने की एक अनोखी तकनीक विकसित की है। वे कहते हैं, “यह ऐसा ब्लूप्रिंट है, जो पहले कभी संभव नहीं था। इससे हमें क्वांटम सामग्रियों के गुणों को समझने और उन्हें नियंत्रित करने में मदद मिलेगी।”
वेव फंक्शन: साधारण से जटिल आकृतियों तक वेव फंक्शन की संरचनाएं सरल से लेकर बेहद जटिल हो सकती हैं। उदाहरण के लिए, एक साधारण वेव फंक्शन को आप एक गेंद के रूप में सोच सकते हैं। वहीं, एक जटिल वेव फंक्शन को मोबियस स्ट्रिप (Möbius strip) जैसे आकार के रूप में समझा जा सकता है, जो प्रसिद्ध कलाकार M.C. Escher की कला में देखा जाता है।
आज की क्वांटम सामग्रियां अधिकतर जटिल वेव फंक्शन्स से बनी होती हैं। हालांकि, इनकी ज्यामिति को अब तक केवल अनुमान के आधार पर समझा जा सकता था। MIT की टीम ने पहली बार इसे मापने का तरीका खोजा है, जो एक ऐतिहासिक उपलब्धि है।
ARPES तकनीक: क्वांटम रहस्यों की कुंजी इस उपलब्धि को हासिल करने के लिए टीम ने एंगल-रिजॉल्व्ड फोटोएमिशन स्पेक्ट्रोस्कोपी (ARPES) नामक तकनीक का उपयोग किया। यह तकनीक पहले भी क्वांटम सामग्रियों के अध्ययन में काम आई थी। 2022 में, कॉमिन और उनकी टीम ने ARPES का उपयोग करके कागोम मेटल (kagome metal) नामक एक नई क्वांटम सामग्री के विशेष गुणों का पता लगाया था। अब, इसी तकनीक का इस्तेमाल उन्होंने कागोम मेटल की क्वांटम ज्यामिति को मापने के लिए किया।
सहयोग की ताकत इस खोज की सफलता केवल तकनीकी उपकरणों तक सीमित नहीं है; यह सैद्धांतिक और प्रयोगात्मक वैज्ञानिकों के बीच करीबी सहयोग का भी परिणाम है। डॉ. मिंगु कांग, जो इस शोध के प्रमुख लेखक हैं, बताते हैं, “क्वांटम ज्यामिति को मापने की यह नई क्षमता वैज्ञानिकों के सहयोग का नतीजा है।” महामारी के दौरान, कांग दक्षिण कोरिया में थे, जिसने उन्हें वहां के वैज्ञानिकों के साथ जुड़ने का मौका दिया। दूसरी ओर, प्रोफेसर कॉमिन ने इटली के इलेट्रा लाइट सोर्स लैब में जाकर स्वयं प्रयोगों का नेतृत्व किया। यह उनके करियर का एक दुर्लभ अवसर था। उन्होंने कहा, “एक प्रोफेसर के रूप में मैं प्रोजेक्ट का नेतृत्व करता हूं, लेकिन प्रयोगों का काम आमतौर पर छात्र और शोधकर्ता करते हैं। महामारी के कारण यह पहली बार था जब मैंने खुद प्रयोगों को अंजाम दिया।”
भविष्य की नई संभावनाएं इस खोज के बाद वैज्ञानिक न केवल कागोम मेटल, बल्कि हर तरह की क्वांटम सामग्री की ज्यामिति को मापने में सक्षम हो गए हैं। यह क्रांतिकारी उपलब्धि क्वांटम कंप्यूटिंग, उन्नत इलेक्ट्रॉनिक्स और चुंबकीय उपकरणों को नए आयाम दे सकती है। डॉ. कांग का कहना है, “यह तकनीक हमें न केवल नई जानकारी देगी, बल्कि यह क्वांटम सामग्रियों की क्षमताओं को समझने और उन्हें बेहतर बनाने का भी अवसर प्रदान करेगी।”
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